Google Ads में कुछ सुधार किए गए हैं, ताकि आप बेहतर तरीके से अपनी ऑडियंस के बारे में ज़्यादा जानकारी देख सकें और उन्हें मैनेज कर पाएं. साथ ही, ऑडियंस मैनेजमेंट और ऑप्टिमाइज़ेशन भी आपके लिए आसान हो जाए. इन सुधारों के बारे में यहां बताया गया है:
- नई ऑडियंस रिपोर्टिंग
ऑडियंस की डेमोग्राफ़िक्स, सेगमेंट, और बाहर रखी गई ऑडियंस के बारे में ज़्यादा जानकारी वाली रिपोर्ट अब एक ही जगह पर जोड़ी गई है. कैंपेन आइकॉन पर क्लिक करें. इसके बाद, "ऑडियंस, कीवर्ड, और कॉन्टेंट" टैब खोलें और ऑडियंस पर क्लिक करें. इस रिपोर्ट पेज से आसानी से अपनी ऑडियंस को मैनेज किया जा सकता है. ऑडियंस रिपोर्टिंग के बारे में ज़्यादा जानें. - नए शब्द
हम ऑडियंस रिपोर्ट और Google Ads में नए शब्दों का इस्तेमाल कर रहे हैं. उदाहरण के लिए, अब "ऑडियंस टाइप" को ऑडियंस सेगमेंट और "रीमार्केटिंग" को “आपका डेटा” कहा जाता है. ऑडियंस टाइप में कस्टम, इन-मार्केट, और अफ़िनिटी ऑडियंस (एक जैसी पसंद वाले दर्शक) शामिल हैं. ऑडियंस से जुड़ी टर्म और वाक्यांशों में हुए अपडेट के बारे में ज़्यादा जानें
विज्ञापन ग्रुप में ऑडियंस सेगमेंट जोड़कर, इस आधार पर लोगों तक पहुंचा जा सकता है कि वे कौन हैं, उनकी दिलचस्पी और आदतें क्या हैं, वे इंटरनेट पर क्या खोज कर रहे हैं या उन्होंने आपके कारोबार के साथ कैसे इंटरैक्ट किया है. ऑडियंस सेगमेंट की मदद से, वेबसाइटों को ब्राउज़ करने वाले, ऐप्लिकेशन का इस्तेमाल करने वाले या वीडियो देखने वाले लोगों तक पहुंचा जा सकता है और अपने कैंपेन की परफ़ॉर्मेंस बेहतर की जा सकती है. विज्ञापन देने वाले लोगों और कंपनियों के साथ-साथ उपयोगकर्ताओं को बेहतर अनुभव उपलब्ध कराने के लिए, लोगों के हिसाब से दिखाए जाने वाले विज्ञापनों की नीति पढ़ें. पहले इसे, दिलचस्पी के हिसाब से विज्ञापन दिखाने की नीति के नाम से जाना जाता था.
ऑडियंस सेगमेंट कैसे काम करते हैं
डिसप्ले, सर्च, वीडियो, होटल, और स्टैंडर्ड शॉपिंग कैंपेन के लिए ऑडियंस, खास दिलचस्पी, इंटेंट, और डेमोग्राफ़िक (उम्र, लिंग, आय, शिक्षा वगैरह) की जानकारी वाले लोगों के ग्रुप या सेगमेंट से बनती है. इनका अनुमान Google लगाता है. किसी कैंपेन या विज्ञापन ग्रुप में ऑडियंस जोड़ते समय, कई तरह के सेगमेंट में से किसी सेगमेंट को चुना जा सकता है. उदाहरण के लिए, इन सेगमेंट में खेल-कूद और घूमने-फिरने में दिलचस्पी रखने वाले, कार खरीदने वाले या आपकी वेबसाइट या ऐप्लिकेशन पर आने वाले लोग शामिल हो सकते हैं. Google Ads उन लोगों को विज्ञापन दिखाएगा जो चुनी गई कैटगरी में आते हों.
ऑडियंस, Google के प्रॉडक्ट और तीसरे पक्ष की वेबसाइटों का इस्तेमाल करने वाले लोगों की गतिविधि के आधार पर तय की जाती हैं. इसके अलावा, इनका अनुमान ऐसे कॉन्टेंट के आधार पर लगाया जाता है जिसमें लोगों के कुछ ग्रुप की दिलचस्पी हो सकती है. तीसरे पक्ष की वेबसाइटों पर होने वाली गतिविधियों और कॉन्टेंट का इस्तेमाल, मुख्य रूप से ऐसे ऑडियंस सेगमेंट बनाने में किया जाता है जिनसे तीसरे पक्ष की वेबसाइटों के उपयोगकर्ताओं को विज्ञापन दिखाए जा सकें. वहीं, Google प्रॉडक्ट पर होने वाली गतिविधियों और कॉन्टेंट का इस्तेमाल, मुख्य रूप से इन प्रॉडक्ट के उपयोगकर्ताओं को विज्ञापन दिखाने के लिए, ऑडियंस सेगमेंट बनाने में किया जाता है.
यहां अलग-अलग तरह के ऑडियंस सेगमेंट की जानकारी कम शब्दों में दी गई है. इनका इस्तेमाल करके, अपने कैंपेन को ज़्यादा सटीक बनाएं.
- अफ़िनिटी सेगमेंट: उपयोगकर्ताओं तक उनके जुनून, आदतों, और रुचियों के आधार पर पहुंचें.
- कस्टम सेगमेंट: कस्टम सेगमेंट की मदद से, काम के कीवर्ड, ऐप्लिकेशन, और यूआरएल का इस्तेमाल करके, टारगेट ऑडियंस तक पहुंचा जा सकता है.
- खास डेमोग्राफ़िक्स की जानकारी: उपयोगकर्ताओं की ज़िंदगी से जुड़े अहम तथ्यों के आधार पर उन तक पहुंचें.
- ज़िंदगी के खास पड़ाव: उपयोगकर्ताओं तक तब पहुंचें, जब वे ज़िंदगी के किसी खास पड़ाव पर पहुंचने वाले हों.
- इन-मार्केट: खरीदारी के लिए एकदम तैयार या बहुत ज़्यादा संभावना वाले उपयोगकर्ताओं तक पहुंचे.
- आपके डेटा सेगमेंट: उन उपयोगकर्ताओं तक पहुंचें जिन्होंने आपके कारोबार के साथ इंटरैक्ट किया है.
- वेबसाइट और ऐप्लिकेशन पर आने वाले लोग: उन लोगों तक पहुंचें जो आपकी वेबसाइट या आपके ऐप्लिकेशन पर आए हैं.
- कस्टमर मैच: सीआरएम डेटा के आधार पर अपने मौजूदा ग्राहकों तक पहुंचें.
- दिलचस्पी रखने वाली ऑडियंस: उन उपयोगकर्ताओं तक पहुंचें जो Google Search, YouTube या Google की अन्य साइटों पर पहले आपकी वेबसाइट से इंटरैक्ट कर चुके हैं.
यहां दी गई टेबल में इस बारे में खास जानकारी दी गई है कि किस कैंपेन टाइप के लिए, कौनसा ऑडियंस सेगमेंट टाइप उपलब्ध है:
कैंपेन टाइप | अफ़िनिटी सेगमेंट | कस्टम सेगमेंट | खास डेमोग्राफ़िक्स की जानकारी | ज़िंदगी के खास पड़ाव | इन-मार्केट | आपका डेटा |
---|---|---|---|---|---|---|
मांग बढ़ाने में मदद करने वाला कैंपेन |
हां | हां | हां | हां | हां | हां |
डिसप्ले कैंपेन | हां | हां | हां | हां | हां | हां |
सर्च | हां | नहीं | हां | नहीं | हां | हां |
वीडियो | हां | हां | हां | हां | हां | हां |
होटल | नहीं | नहीं | नहीं | नहीं | नहीं | हां |
स्टैंडर्ड शॉपिंग | हां | नहीं | हां | नहीं | हां | हां |
ऑडियंस सेगमेंट के अलग-अलग विकल्प
अपनी ऑडियंस की रुचियों, ज़रूरतों, व्यवहार, और लक्ष्यों की पहचान करने के बाद, यह तय किया जा सकता है कि किसी कैंपेन या विज्ञापन ग्रुप के लिए, आपकी ऑडियंस कौनसी होगी. आपके पास ऐसे सेगमेंट चुनने का विकल्प होता है जिन्हें Google Ads ने पहले से कॉन्फ़िगर किया हो.
लुकबैक विंडो
डेटा |
रीफ़्रेश की फ़्रीक्वेंसी | लुकबैक विंडो |
---|---|---|
ऑडियंस का डेटा | हर हफ़्ते | पिछले 30 दिन |
खोज डेटा | आने वाले महीने के पहले या दूसरे हफ़्ते में | तीन साल |
इस सेगमेंट की मदद से, लोगों तक उनकी लाइफ़स्टाइल, रुचियों, और आदतों की जानकारी के आधार पर पहुंचें.
किसी वीडियो को अफ़िनिटी ऑडियंस लेबल असाइन किया जा सकता है, जैसे कि 'मोटरसाइकिल के शौकीन'. ऐसा वीडियो के कॉन्टेक्स्ट और उसमें लोगों की दिलचस्पी के सिग्नल या सिर्फ़ कॉन्टेक्स्ट के सिग्नल के आधार पर किया जा सकता है. विज्ञापन देने वाला कोई व्यक्ति या कंपनी जब किसी ऐसे अफ़िनिटी ऑडियंस सेगमेंट का इस्तेमाल करती है जिसके लिए लोगों की दिलचस्पी के हिसाब से विज्ञापन दिखाने की अनुमति नहीं है, तो हम वीडियो पर उनके विज्ञापन दिखाने के लिए कॉन्टेक्स्ट के सिग्नल का इस्तेमाल करते हैं. इनमें 'बच्चों के लिए' के तौर पर सेट किए गए वीडियो शामिल होते हैं. साथ ही, यह भी पक्का किया जाता है कि 'बच्चों के लिए' में शामिल किसी भी वीडियो पर, लोगों की दिलचस्पी के हिसाब से विज्ञापन कभी न दिखाए जाएं.
फ़िलहाल, Google पर विज्ञापन देने वाले सभी लोग और कंपनियां, अफ़िनिटी सेगमेंट को सर्च, डिसप्ले, स्टैंडर्ड शॉपिंग, और वीडियो कैंपेन में ऐक्सेस कर सकती हैं. साथ ही, इसे Gmail और Display & Video 360 में भी ऐक्सेस किया जा सकता है.
हेल्थ अफ़िनिटी सेगमेंट
अफ़िनिटी सेगमेंट: यह उपयोगकर्ताओं की पसंद और रुचियों के आधार पर, उन तक पहुंचने में मदद करता है. साथ ही, इससे लोगों की जीवनशैली, रुचियों, और आदतों की जानकारी के आधार पर उन तक पहुंचा जा सकता है. ऐसा देखा गया है कि अफ़िनिटी सेगमेंट में आने वाले लोग, हेल्थ सेगमेंट में रुचि दिखाते हैं. इससे, उन लोगों तक उनकी पसंद के प्रॉडक्ट और ऑफ़र के ज़रिए पहुंचा जा सकता है.
नीचे अफ़िनिटी हेल्थ सेगमेंट के बारे में बताया गया है. इस CSV को डाउनलोड करके, अफ़िनिटी कैटगरी के हिसाब से पूरी तरह से बनाए गए ऑडियंस सेगमेंट की सूची देखें.
अफ़िनिटी सेगमेंट का नाम
अफ़िनिटी सेगमेंट का नाम |
/खाना और डाइनिंग/शाकाहारी और वीगन |
/खाना और डाइनिंग/शाकाहारी और वीगन/वीगन |
/लाइफ़स्टाइल और शौक/ग्रीन लिविंग के शौकीन |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/हेल्थ और फ़िटनेस के शौकीन |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/हेल्थ और फ़िटनेस के शौकीन/वेटलिफ़्टर (वज़न उठाने वाले लोग) |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/हेल्थ और फ़िटनेस के शौकीन/योग के शौकीन |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/स्पोर्ट्स फ़ैन |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/स्पोर्ट्स फ़ैन/बेसबॉल फ़ैन |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/स्पोर्ट्स फ़ैन/बास्केटबॉल फ़ैन |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/स्पोर्ट्स फ़ैन/बोटिंग और सेलिंग के शौकीन |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/स्पोर्ट्स फ़ैन/क्रिकेट के शौकीन |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/स्पोर्ट्स फ़ैन/साइकल के शौकीन |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/स्पोर्ट्स फ़ैन/अमेरिकी फ़ुटबॉल फ़ैन |
स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/स्पोर्ट्स फ़ैन/ऑस्ट्रेलियन फ़ुटबॉल फ़ैन |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/स्पोर्ट्स फ़ैन/फ़ाइट और कुश्ती फ़ैन |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/स्पोर्ट्स फ़ैन/गोल्फ़ के शौकीन |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/स्पोर्ट्स फ़ैन/हॉकी फ़ैन |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/स्पोर्ट्स फ़ैन/मोटर स्पोर्ट्स के शौकीन |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/स्पोर्ट्स फ़ैन/ओलंपिक फ़ैन |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/स्पोर्ट्स फ़ैन/रैकेटबॉल के शौकीन |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/स्पोर्ट्स फ़ैन/रग्बी के शौकीन |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/स्पोर्ट्स फ़ैन/दौड़ के शौकीन |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/स्पोर्ट्स फ़ैन/स्कीइंग के शौकीन |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/स्पोर्ट्स फ़ैन/फ़ुटबॉल फ़ैन |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/स्पोर्ट्स फ़ैन/स्वीमिंग के शौकीन |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/स्पोर्ट्स फ़ैन/टेनिसी के शौकीन |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/स्पोर्ट्स फ़ैन/पानी के खेल के शौकीन |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/स्पोर्ट्स फ़ैन/सर्दी के खेल के शौकीन |
Google, उपयोगकर्ताओं को विज्ञापन दिखाने के लिए, स्वास्थ्य, नस्ल, धर्म या सेक्शुअल ओरिएंटेशन जैसी संवेदनशील जानकारी का इस्तेमाल कभी नहीं करेगा.
आपके इनपुट या ऑडियंस सेगमेंट के चुनाव के आधार पर, Google का एआई आपके कैंपेन की ज़रूरतों के मुताबिक सही ऑडियंस चुनेगा.
(पिछली बार 28 अप्रैल, 2023 को अपडेट किया गया)
ज़िंदगी के खास पड़ाव, जैसे कि स्नातक होने, नए घर में जाने या शादी करने के मौके पर YouTube, Gmail, और Google Display Network पर ऑडियंस से जुड़ें. यह जानकर कि ये अहम मौके कब आने वाले हैं, उनके हिसाब से विज्ञापन बनाए जा सकते हैं और सही उपयोगकर्ताओं तक सही मैसेज पहुंचाए जा सकते हैं.
दूसरे ज़रूरी पड़ावों की तरह, ज़िंदगी में ये खास पड़ाव बार-बार नहीं आते हैं. इस वजह से, आपकी पहुंच अफ़िनिटी ऑडियंस की तुलना में छोटे सेगमेंट तक ही सीमित हो सकती है. हालांकि, ज़िंदगी के खास पड़ाव पर खरीदारी के कई फ़ैसले लिए जाते हैं. इसलिए, सेगमेंट अक्सर इन-मार्केट सेगमेंट से बड़ा होता है. यह सेगमेंट, खरीदारी के किसी एक फ़ैसले से जुड़ा होता है. उदाहरण के लिए, अगर कोई व्यक्ति किसी नई जगह शिफ़्ट हो रहा है, तो शिफ़्ट करने के दौरान, नया फ़र्नीचर खरीदने, सामान ले जाने से जुड़ी सेवाओं, क़र्ज़ लेने, और अन्य सेवाओं के खरीदने की ज़्यादा संभावना होती है.
इस सेगमेंट से, ऐसे खरीदार खोजें जो बाज़ार में प्रॉडक्ट की तलाश में हैं. इसका मतलब है कि ये लोग, प्रॉडक्ट खोज रहे हैं और आपके प्रॉडक्ट या सेवा से मिलते-जुलते प्रॉडक्ट या सेवा खरीदने का मन बना रहे हैं.
इन-मार्केट सेगमेंट, विज्ञापन देने वाले उन लोगों के लिए डिज़ाइन किए गए हैं जिनका फ़ोकस संभावित खरीदारों को ग्राहक में बदलने पर है. इन सेगमेंट की मदद से, उन उपभोक्ताओं तक पहुंचा जा सकता है जिनकी खरीदारी करने की संभावना ज़्यादा होती है.
इस CSV को डाउनलोड करके, इन-मार्केट सेगमेंट के हिसाब से बनाए गए ऑडियंस सेगमेंट की सूची देखें.
सेहत से जुड़े प्रॉडक्ट के हिसाब से बनाए गए इन-मार्केट सेगमेंट
नीचे इन-मार्केट हेल्थ सेगमेंट के बारे में बताया गया है. इस CSV को डाउनलोड करके, इन-मार्केट सेगमेंट के हिसाब से बनाए गए सेगमेंट की सूची देखें.
इन-मार्केट सेगमेंट
सेगमेंट का नाम |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/फ़िटनेस प्रॉडक्ट और सेवाएं |
/स्पोर्ट्स और फ़िटनेस/फ़िटनेस प्रॉडक्ट और सेवाएं/न्यूट्रिशन ड्रिंक और शेक |
Google, उपयोगकर्ताओं को विज्ञापन दिखाने के लिए, स्वास्थ्य, नस्ल, धर्म या सेक्शुअल ओरिएंटेशन जैसी संवेदनशील जानकारी का इस्तेमाल कभी नहीं करेगा.
आपके इनपुट या ऑडियंस सेगमेंट के चुनाव के आधार पर, Google का एआई आपके कैंपेन की ज़रूरतों के मुताबिक सही ऑडियंस चुनेगा.
(पिछली बार 28 अप्रैल, 2023 को अपडेट किया गया)
कस्टम सेगमेंट
कस्टम सेगमेंट की मदद से, कीवर्ड, ऐप्लिकेशन, और यूआरएल का इस्तेमाल करके, अपनी पसंद के सेगमेंट तक पहुंचने का तरीका तय किया जा सकता है.
आपके पास अपने डिसप्ले, मांग बढ़ाने में मदद करने वाले, स्टैंडर्ड शॉपिंग, और वीडियो कैंपेन के साथ-साथ Gmail में कस्टम सेगमेंट सेट अप करने का विकल्प होता है. इसके लिए, आपको अपने प्रॉडक्ट या सेवा से जुड़े कीवर्ड, यूआरएल, और ऐप्लिकेशन जोड़ने होते हैं. इसके बाद, Google Ads उन लोगों को पेजों, ऐप्लिकेशन, और वीडियो में विज्ञापन दिखाएगा जिनकी रुचि इन कीवर्ड में हो सकती है.
आपके कैंपेन के लक्ष्यों और बिडिंग की रणनीति के आधार पर, सिस्टम उन सभी सिग्नल को समझेगा. इसके बाद, इनमें से किसी एक के मुताबिक सेगमेंट चुनेगा:
- पहुंच
- विचार
- परफ़ॉर्मेंस
उदाहरण के लिए, हो सकता है कि दौड़ने के लिए जूते बनाने वाली कंपनी, खेल में दिलचस्पी रखने वाली अफ़िनिटी ऑडियंस सेगमेंट के बजाय, मैराथन में बढ़-चढ़कर हिस्सा लेने वाले लोगों तक पहुंचना चाहे. कस्टम सेगमेंट की मदद से, जूते बनाने वाली कंपनी इन तरीकों से यह सेगमेंट तय कर सकती है:
- दिल्ली में "पांच हज़ार मीटर का ट्रायथलॉन" या "लंबी दूरी के धावक" जैसी रुचियां डालकर
- रनिंग, ट्रेनिंग शेड्यूल, मैराथन के लिए न्यूट्रीशन, और अन्य मैराथन थीम के बारे में जानकारी देने वाली वेबसाइटों के यूआरएल का इस्तेमाल करके
- ऐप्लिकेशन की जानकारी डालकर
अपने-आप बनने वाले कस्टम इंटेंट सेगमेंट की मदद से, डिसप्ले कैंपेन के लिए सही सेगमेंट तय करके उस तक पहुंचा जा सकता है. कस्टम इंटेंट सेगमेंट का इस्तेमाल करके, अपने विज्ञापन को किसी कैटगरी या लैंडिंग पेज पर दिखाया जा सकता है.
फ़िलहाल, अपने-आप बनने वाले सेगमेंट अंग्रेज़ी, जर्मन, जैपनीज़, स्पैनिश, रशियन, पॉर्चुगीज़, फ़्रेंच, और इटैलियन भाषाओं में उपलब्ध हैं. अपडेट के लिए वापस आकर देखें. समय के साथ नई भाषाएं जोड़ी जाएंगी.
आपके डेटा सेगमेंट (पहले इन्हें रीमार्केटिंग के नाम से जाना जाता था)
डेटा का इस्तेमाल करके उन लोगों तक भी पहुंचा जा सकता है जो पहले से आपकी कंपनी के प्रॉडक्ट और सेवाओं से जुड़े हैं. इनमें वेबसाइट, मोबाइल ऐप्लिकेशन या वीडियो पर पहले आ चुके लोग या अपनी संपर्क जानकारी देने वाले लोग भी शामिल हैं. अपने डेटा सेगमेंट के बारे में ज़्यादा जानें. आपके डेटा सेगमेंट में शामिल हैं:
- वे लोग जो आपकी वेबसाइट या ऐप्लिकेशन पर आए हों.
- ऐसे ग्राहक जिन्होंने आपके साथ जानकारी शेयर की है. इस ऑनलाइन और ऑफ़लाइन डेटा की मदद से, Search, Shopping, Gmail, स्टैंडर्ड शॉपिंग, YouTube, और Display पर अपने ग्राहकों तक पहुंचा जा सकता है और उन्हें फिर से जोड़ा जा सकता है.
आम तौर पर, डेमोग्राफ़िक्स से लोगों की उम्र, लिंग के साथ-साथ यह जानकारी मिलती है कि वे माता-पिता हैं या नहीं. वहीं, खास डेमोग्राफ़िक्स की जानकारी वाले सेगमेंट, जनसंख्या के ऐसे सेगमेंट होते हैं जिनकी कई बातें आपस में मेल खाती हैं. खास डेमोग्राफ़िक्स की जानकारी वाले सेगमेंट में कॉलेज के छात्र-छात्राएं, मकान मालिक या हाल ही में माता-पिता बने लोग शामिल होते हैं. इस CSV को डाउनलोड करके, खास डेमोग्राफ़िक्स की जानकारी के हिसाब से बनाए गए ऑडियंस सेगमेंट की सूची देखें.
सेगमेंट के लिए बिड करने की प्रोसेस, एक से ज़्यादा कैंपेन के साथ कैसे काम करती है
अगर आपके पास एक ही ट्रैफ़िक को टारगेट करने वाले कई कैंपेन हैं, तो नीलामी के दौरान सबसे असरदार बिड वाले कैंपेन को चुना जाएगा.
उदाहरण
मान लीजिए कि किसी उपयोगकर्ता के शहर में, कैंपेन A और कैंपेन B, जूतों के एक ही मॉडल के लिए टारगेट कर रहे हैं.
कैंपेन A में दो डॉलर की बेस बिड लगाई जाती है और किसी ऑडियंस सेगमेंट के लिए 100% बोली गुणक का इस्तेमाल किया जाता है. कैंपेन B में, पांच डॉलर की बेस बिड लगाई जाती है और बोली गुणक का इस्तेमाल नहीं किया जाता. ऐसे में, कैंपेन B को इंप्रेशन मिलेगा. भले ही, उसमें सेगमेंट के लिए बिड घटाने या बढ़ाने की सेटिंग का इस्तेमाल नहीं किया गया हो.
संभावित ग्राहकों तक पहुंच बनाने की सुविधा के बारे में जानकारी
सबसे बेहतर परफ़ॉर्म कर रहे अपने प्रॉडक्ट के विज्ञापनों से, नए ग्राहकों तक पहुंचने और उनका ध्यान खींचने के लिए, संभावित ग्राहकों तक पहुंच बनाने की सुविधा का इस्तेमाल करें.
यह कैसे काम करता है
संभावित ग्राहकों तक पहुंच बनाने की सुविधा, Google के एआई का इस्तेमाल करके यह पता लगाती है कि संभावित खरीदार कौनसे फ़ीड आइटम खोज रहे हैं. पुरानी फ़ीड परफ़ॉर्मेंस और उपयोगकर्ता व्यवहार का इस्तेमाल करके, संभावित ग्राहकों तक पहुंच बनाने की सुविधा यह अनुमान लगाती है कि वे नए उपयोगकर्ता कौन हैं जो आपकी फ़ीड में मौजूद आइटम को खरीदने में दिलचस्पी रख सकते हैं. जब सिस्टम को फ़ीड आइटम और उपयोगकर्ता की दिलचस्पी से जुड़ा काम का डेटा मिल जाता है, तो यह सिस्टम उपयोगकर्ता की दिलचस्पी और उम्र, लिंग, आय, शिक्षा वगैरह की जानकारी का एक साथ इस्तेमाल करता है, ताकि उपयोगकर्ता को दिलचस्पी के हिसाब से आपके फ़ीड में मौजूद उसके काम का आइटम दिखाया जा सके. आपके फ़ीड में मौजूद प्रॉडक्ट का मूल्यांकन और चुनाव कई पैमानों के आधार पर किया जाता है, जैसे कि उसकी परफ़ॉर्मेंस कैसी है, वह कितने काम का है. इससे, यह पता लगाने में मदद मिलती है कि किन प्रॉडक्ट से कन्वर्ज़न मिलने की संभावना ज़्यादा है.
हमारा सुझाव है कि आप संभावित ग्राहकों तक पहुंच बनाने की सुविधा के लिए, स्मार्ट डिसप्ले कैंपेन का इस्तेमाल करें. ऐसा इसलिए, क्योंकि इसके ज़रिए पूरे फ़नल के असरदार सेटअप के लिए, डाइनैमिक रीमार्केटिंग उपयोगकर्ताओं को संभावित उपयोगकर्ताओं के साथ आसानी से जोड़ा जा सकता है.
उदाहरण
मान लें कि आपकी कंपनी, होटल बुकिंग की सेवा देती है और कोई ग्राहक पेरिस में छुट्टी बिताना चाहता है. यह ग्राहक पेरिस की काफ़ी सारी चीज़ों पर शोध कर रहा है, जैसे कि वहां की संस्कृति को दिखाने वाली जगहें, रेस्टोरेंट, होटल, और फ़्लाइट के विकल्प. आपने संभावित ग्राहकों तक पहुंच बनाने की सुविधा चालू की है, इसलिए जब Google को यह पता चलेगा कि उपयोगकर्ता अपनी यात्रा के दौरान पेरिस भी जाना चाहता है, तो उसे यह समझने में मदद मिलेगी कि ग्राहक को आपकी कंपनी से जुड़े पेरिस के ऐसे कौनसे होटल दिखाए जाएं जिससे उसे होटल चुनने में मदद मिले. साथ ही, यह पता लगाने में भी मदद मिलेगी कि उपयोगकर्ता को किस तरह के विज्ञापन दिखाए जाएं, ताकि उसके ग्राहक में बदलने की संभावना बढ़े.
विज्ञापन दिखाने की फ़्रीक्वेंसी के बारे में जानकारी
साल 2022 की दूसरी छमाही से, ऑप्टिमाइज़ेशन के समाधान के तौर पर विज्ञापन दिखाने की फ़्रीक्वेंसी का इस्तेमाल किया जा सकता है. इससे, ब्रैंड जागरूकता बढ़ाने वाले कैंपेन में, YouTube पर अपनी पहुंच के साथ-साथ विज्ञापन व्यू की संख्या भी बढ़ाई जा सकती है. फ़्रीक्वेंसी लक्ष्यों को पाने के लिए, विज्ञापन व्यू को बढ़ाने का यह आसान तरीका है.
टारगेट फ़्रीक्वेंसी कैंपेन, विज्ञापन दिखाने के लिए पॉज़िटिव टारगेटिंग करते हैं. विज्ञापन देने वाला व्यक्ति या कंपनी, हर हफ़्ते के लिए विज्ञापन दिखाने की जो फ़्रीक्वेंसी तय करती है उसके आधार पर ऐसा किया जाता है. इसका मकसद, ज़्यादा से ज़्यादा उपयोगकर्ताओं को विज्ञापन दिखाना होता है. इस कैंपेन में यह माना जाता है कि फ़्रीक्वेंसी बनाना आपके लिए सबसे ज़रूरी लक्ष्य है. यह कैंपेन ऐसे ज़्यादा से ज़्यादा उपयोगकर्ताओं को पहला विज्ञापन इंप्रेशन दिखाता है जो कैंपेन से जुड़ी आपकी शर्तों को पूरा करते हैं. उपयोगकर्ताओं को पहला इंप्रेशन दिखाने के बाद, सात दिनों के अंदर उन्हें बाकी फ़्रीक्वेंसी के लिए, अपने-आप मंज़ूरी मिल जाती है. भले ही, उनकी ऑडियंस प्रोफ़ाइल में बदलाव हुआ हो या उन्हें तय किए गए विषयों और/या डाइनैमिक लाइनअप से बाहर के इंप्रेशन दिखाए गए हों. इससे टारगेट ऑडियंस के बीच ब्रैंड जागरूकता बढ़ती है. टारगेट फ़्रीक्वेंसी के बारे में ज़्यादा जानें.