अमान्य ट्रैफ़िक के बारे में जानकारी

किसी विज्ञापन पर मिलने वाले ऐसे क्लिक और इंप्रेशन को अमान्य ट्रैफ़िक कहा जाता है जो उपयोगकर्ता की दिलचस्पी से नहीं, बल्कि किन्हीं दूसरी वजहों से मिले हों. इनमें, अनजाने में हुए या डुप्लीकेट क्लिक और धोखाधड़ी वाले जान-बूझकर किए गए क्लिक शामिल हैं. आपसे अमान्य क्लिक या इंप्रेशन के पैसे नहीं लिए जाते, क्योंकि आम तौर पर इनकी कोई खास अहमियत नहीं होती.

विज्ञापन देने वालों को अमान्य ट्रैफ़िक से बचाने के लिए Google, कई स्तर पर काम करता है. हालांकि, ज़्यादातर अमान्य ट्रैफ़िक, रीयल-टाइम में अपने-आप पकड़ लिया जाता है. फिर भी, हमारे सिस्टम और विशेषज्ञों की टीम लगातार ट्रैफ़िक पर नज़र रखती है, ताकि ऐसे अमान्य ट्रैफ़िक की पहचान की जा सके जो नया है या पहले पहचाना नहीं जा सका. Google को जिस अमान्य ट्रैफ़िक का पता चला है वह अलग-अलग तरीकों से दिखेगा. यह इस बात पर निर्भर करता है कि इसका पता कब चला. किसी महीने का इनवॉइस जनरेट होने से पहले ही अमान्य ट्रैफ़िक की पहचान हो जाने पर, खर्च की जानकारी को उस हिसाब से अडजस्ट कर दिया जाएगा. आपसे किसी अमान्य ट्रैफ़िक के लिए शुल्क नहीं लिया जाएगा. हालांकि, इनवॉइस जनरेट होने के बाद पहचाने गए अमान्य ट्रैफ़िक के लिए, Google अपने ग्राहकों को बाद के महीनों में "अमान्य ट्रैफ़िक क्रेडिट" देता है. ये क्रेडिट, बाद के इनवॉइस और खाते में हुए ट्रांज़ैक्शन के इतिहास की रिपोर्ट में दिखते हैं.

क्रेडिट जारी होने पर, अमान्य ट्रैफ़िक से जुड़ी सेवा की जानकारी भी दी जाती है. इस जानकारी में मूल इनवॉइस का नंबर, सेवा का मूल महीना, पीओ नंबर, खाते के बजट का नाम, और उस कैंपेन का नाम शामिल होता है जिसके लिए अमान्य ट्रैफ़िक की पहचान की गई थी. यह जानकारी आपके Google Ads खाते के खास जानकारी वाले पेज और बिलिंग गतिविधि या ट्रांज़ैक्शन पेज पर दिखती है. साथ ही, यह जानकारी महीने के आखिर के इनवॉइस में भी दिखती है.

अमान्य ट्रैफ़िक के टाइप

इस तरह के क्लिक और इंप्रेशन अमान्य माने जाते हैं:

  • अनजाने में हुए क्लिक, जिनसे कोई फ़ायदा नहीं होता है. जैसे, दो बार हुए क्लिक का दूसरा क्लिक
  • मैन्युअल क्लिक, जिनका मकसद किसी व्यक्ति के विज्ञापन की लागत बढ़ाना हो
  • मैन्युअल क्लिक, जिनका मकसद आपके विज्ञापन होस्ट करने वाले वेबसाइट मालिकों का मुनाफ़ा बढ़ाना हो
  • ऑटोमेटेड टूल, रोबोट या गुमराह करने के मकसद से इस्तेमाल किए जाने वाले अन्य सॉफ़्टवेयर से मिलने वाले क्लिक और इंप्रेशन
  • ऐसे इंप्रेशन जिनका मकसद किसी विज्ञापन देने वाले के क्लिक मिलने की दर (सीटीआर) को आर्टिफ़िशियल तरीके से कम करना हो

Google अमान्य ट्रैफ़िक को कैसे रोकता है

Google हर इंटरैक्शन के लिए, डेटा के कई पहलू देखता है. जैसे:

  • आईपी पता
  • इंटरैक्शन का समय
  • डुप्लीकेट इंटरैक्शन

कई तरह के इंटरैक्शन पैटर्न की जांच करने के बाद, Google ऐसे इंटरैक्शन को आपके खाते में दिखाए जाने से पहले ही फ़िल्टर करने की कोशिश करता है जो अमान्य हो सकते हैं.

अमान्य ट्रैफ़िक को रोकने के लिए Google के सुरक्षा कार्यक्रम के बारे में ज़्यादा जानें

Google आपकी रिपोर्ट से अमान्य ट्रैफ़िक को फ़िल्टर कर देता है. साथ ही, आपको ऐसे अमान्य इंटरैक्शन के लिए क्रेडिट भी देता है जो अपने-आप होने वाली पहचान की प्रोसेस से बच निकलते हैं. अमान्य इंटरैक्शन के लिए क्रेडिट देखने के तरीके के बारे में ज़्यादा जानें

ट्रैफ़िक में बढ़ोतरी की आम वजहें

आपके खाते में क्लिक या इंप्रेशन की संख्या में बढ़ोतरी का मतलब हमेशा यह नहीं होता कि आपके विज्ञापनों पर अमान्य ट्रैफ़िक का असर हुआ है. ज़्यादातर मामलों में, ट्रैफ़िक में बढ़ोतरी की दूसरी वजहें होती हैं.

ट्रैफ़िक में बढ़ोतरी की वजहों के कुछ उदाहरण:

  • रोज़ के औसत बजट में बदलाव: अपने कैंपेन के लिए रोज़ के औसत बजट में इज़ाफ़ा करने पर, आपके विज्ञापनों को ज़्यादा इंप्रेशन और क्लिक मिल सकते हैं.
  • कीवर्ड के लिए, ज़्यादा से ज़्यादा सीपीसी में बदलाव: एक या उससे ज़्यादा कीवर्ड के लिए, सीपीसी यानी हर क्लिक की ज़्यादा से ज़्यादा लागत बढ़ाने पर, आपके विज्ञापन ज़्यादा बार दिख सकते हैं. इसकी मदद से, विज्ञापन को पहले की तुलना में बेहतर क्रम में दिखाया जा सकता है. यह Display Network पर दिखाए जाने वाले विज्ञापनों पर भी लागू होता है. ज़्यादा सीपीसी से विज्ञापनों को बेहतर क्रम में दिखाया जा सकता है. इससे ज़्यादा इंप्रेशन और क्लिक मिल सकते हैं.
  • नए कीवर्ड जोड़ना: बहुत आम या लोकप्रिय खोज क्वेरी में इस्तेमाल होने वाले नए कीवर्ड जोड़ने पर, आपको ज़्यादा इंप्रेशन और क्लिक मिल सकते हैं.
  • Display Network की नई साइटों पर विज्ञापन दिखाए जा रहे हैं: अगर आपका विज्ञापन कैंपेन, ऑटोमैटिक प्लेसमेंट (विज्ञापन के लिए अपने-आप सही जगह ढूंढने वाली सुविधा) का इस्तेमाल करता है और उसका रोज़ का औसत बजट काफ़ी है, तो आपके विज्ञापन नई पब्लिशर साइट पर दिखेंगे. इससे आपके विज्ञापनों को मिलने वाले ट्रैफ़िक में काफ़ी बढ़ोतरी हो सकती है.
  • सीज़न के मुताबिक रुझान या नए इवेंट: कभी-कभी, लोगों की दिलचस्पी किसी खास विषय में अचानक बढ़ने की वजह से ट्रैफ़िक में बढ़ोतरी हो सकती है. उदाहरण के लिए, किसी खास छुट्टी पर या जब कोई मशहूर हस्ती किसी मुद्दे पर ब्लॉग लिखे या बातचीत करे.

ट्रैफ़िक में बढ़ोतरी की मान्य वजहों के बारे में ज़्यादा जानें

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